बिहार सरकार द्वारा दुर्गा पूजा से पहले श्रमिकों के न्यूनतम मजदूरी में बढ़ोत्तरी की गई खबर स्वागत के योग्य है। इस कदम से बिहार के श्रमिकों को आर्थिक रूप से लाभ होगा। यह नई मजदूरी दर को साल में दो बार, अप्रैल और अक्टूबर, बढ़ाने का प्रावधान करता है। अनुभवहीन श्रेणी के मजदूरों के लिए न्यूनतम मजदूरी में 7 रुपये की वृद्धि हो रही है, जिससे उन्हें प्रतिदिन 388 रुपये के बजाय 395 रुपये मिलेंगे।
- अर्ध कुशल मजदूरों के लिए 8 रुपये की वृद्धि हो रही है, जिससे उन्हें प्रतिदिन 403 रुपये के बजाय 411 रुपये मिलेंगे।
- दक्ष श्रमिकों के लिए न्यूनतम मजदूरी को 500 रुपये में बढ़ाया गया है, जो पहले 491 रुपये थी।
- अति कुशल श्रमिकों की मजदूरी में भी वृद्धि हो रही है, जिससे उन्हें प्रतिदिन 577 रुपये के बजाय 566 रुपये मिलेंगे।
- लिपिकीय या पर्यवेक्षक के काम करने वाले कामगारों की महीने की मजदूरी में भी वृद्धि हो रही है, जिससे उन्हें 10,688 रुपये के बजाय 10,478 रुपये मिलेंगे।
इसके साथ ही, यदि किसी श्रमिक को नई मजदूरी दर से कम मजदूरी मिलती है, तो वे शिकायत कर सकते हैं। यह कदम बिहार के श्रमिकों के लिए एक सकारात्मक परिवर्तन है और उन्हें आर्थिक सुधार की दिशा में मदद मिलेगी।