नवादा में मॉब लिंचिंग: चोरी के आरोप में युवक की पीट-पीटकर हत्या, दूसरा गंभीर
नवादा, बिहार: बिहार के नवादा जिले से एक बार फिर मॉब लिंचिंग की दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। बुधवार देर रात मुफस्सिल थाना क्षेत्र के भगवानपुर गांव में भीड़ ने चोरी के आरोप में दो युवकों को बेरहमी से पीट दिया। इस पिटाई में एक युवक की इलाज के दौरान मौत हो गई, जबकि दूसरा गंभीर रूप से घायल है और अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच जूझ रहा है।
घटना कैसे घटी?
जानकारी के मुताबिक, बुधवार देर रात भगवानपुर गांव में दो युवकों को चोरी के आरोप में पकड़ लिया गया। भीड़ ने बिना पुलिस को सूचना दिए खुद ही सजा देने का फैसला किया और दोनों युवकों को बुरी तरह पीटने लगी। जब तक पुलिस मौके पर पहुंची, तब तक दोनों की हालत बेहद नाजुक हो चुकी थी।
मृतक और घायल की पहचान
मॉब लिंचिंग के शिकार दोनों युवक भगवानपुर गांव के ही रहने वाले थे। मृतक की पहचान मृत्युंजय कुमार (25), पिता बिनोद प्रसाद के रूप में हुई है। वहीं, घायल युवक प्रवेश कुमार (23) बताया जा रहा है। दोनों को पहले नवादा सदर अस्पताल लाया गया, जहां इलाज के दौरान मृत्युंजय ने दम तोड़ दिया। प्रवेश की हालत अब भी गंभीर बनी हुई है।
युवकों के पास से क्या बरामद हुआ?
पुलिस के मुताबिक, युवकों के पास से सोने और चांदी के जेवरात बरामद किए गए हैं। इनमें—
सोने का एक पूरा सेट
बजरंगबली का लॉकेट
चांदी की 10 जोड़ी पायल और बिछिया
दो स्मार्टफोन
हालांकि, पुलिस अभी इस मामले की जांच कर रही है कि बरामद सामान चोरी का था या नहीं।
परिजनों का क्या कहना है?
घटना की जानकारी मिलते ही दोनों युवकों के परिजन अस्पताल पहुंचे। मृतक के परिवारवालों का कहना है कि उनके बेटे को साजिश के तहत फंसाया गया और निर्दयता से पीटा गया। वहीं, घायल युवक के परिवार ने भी आरोप लगाया कि भीड़ ने बिना किसी ठोस सबूत के उनके बेटे को मारने की कोशिश की।
पुलिस की कार्रवाई
मुफस्सिल थाना प्रभारी मृत्युंजय कुमार के नेतृत्व में पुलिस टीम अस्पताल में मौजूद रही और शव का पोस्टमार्टम कराया गया। पुलिस ने अज्ञात लोगों के खिलाफ मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। शहर के एसपी ने कहा है कि दोषियों को बख्शा नहीं जाएगा और मॉब लिंचिंग में शामिल लोगों की पहचान कर जल्द ही गिरफ्तारी की जाएगी।
बिहार में बढ़ती मॉब लिंचिंग की घटनाएं
बिहार में मॉब लिंचिंग की घटनाएं लगातार बढ़ रही हैं। कई मामलों में भीड़ बिना ठोस सबूत के कानून अपने हाथ में ले रही है, जिससे निर्दोष लोग भी मारे जा रहे हैं। पुलिस ने लोगों से अपील की है कि किसी भी संदेहास्पद व्यक्ति को पकड़ने पर कानून अपने हाथ में न लें, बल्कि तुरंत पुलिस को सूचना दें।
क्या भीड़ को कानून अपने हाथ में लेने का अधिकार है? चोरी का आरोप हो या कोई और अपराध, सजा देने का अधिकार केवल कानून को है, न कि भीड़ को। पुलिस मामले की जांच कर रही है और उम्मीद है कि जल्द
ही इस घटना के दोषियों को सजा मिलेगी।